आँखों में धूल झोंकना मुहावरे का अर्थ और वाक्य प्रयोग / Aankhon Mein Dhool Jhokna Muhavare Ka Meaning In Hindi
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Aankhon Mein Dhool Jhokna Muhavare Ka Arth Aur Vakya Prayog / आँखों में धूल झोंकना मुहावरे का क्या अर्थ है?
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Aankho me dhool jhokna |
मुहावरा- “आँखों में धूल झोंकना”।
( Muhavara- “Aankhon Mein Dhool Jhokna” )
अर्थ- किसी को धोखा देना / सामने वाले को भ्रमित करना / किसी को ठगना ।
( Arth/Meaning in Hindi- Kisi Ko Dhokha Dena / Samne Wale Ko Bhramit Karna / Kisi Ko Thagna )
आँखों में धूल झोंकना मुहावरे का अर्थ/व्याख्या इस प्रकार है-
‘आँखों में धूल झोकना’ यह हिंदी भाषा मे बोले जाने वाला एक महत्वपूर्ण मुहावरा है । इस मुहावरे का अर्थ किसी को भी धोखा देना अथवा सामने वाले को भ्रमित कर देना होता है।
अर्थात कि कोई भी व्यक्ति अपने अपराधों, गलतियों या अपने अवगुणों को स्वीकार न करते हुए उसे नजरअंदाज करता है और उससे अपने आप को बचाने का प्रयास करता है ।
इस मुहावरे का प्रयोग करके व्यक्ति आपको बताना चाहता है कि किसी विषय या गलती को वह व्यक्ति भली भांति जानता और समझता है, लेकिन वह उसे स्वीकार नही कर रहा है परन्तु इसके बिपरीत वह अपने आप का बचाव कर रहा है ।
इस मुहावरे का अर्थ एक उदाहरण के माध्यम से समझते हैं -
प्रभाकर पुलिस की आँखों मे धूल झोंककर भाग गया और पुलिस प्रभाकर को ढूंढती रह गयी ।
एक कत्ल के आरोप मे पुलिस ने प्रभाकर को गवाह बनाया था । क्युकी आरोपियों को कत्ल करते हुए प्रभाकर ने देख लिया था । और फिर उसने पुलिस को जानकारी भी दी थी की उसने कत्ल करते हुये देखा है ।
मौके पर पहुंच कर पुलिस ने उन दोनो कत्ल करने वाले आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया । और प्रभाकर से कहा की तुम भी हमारे साथ थाने चलो गवाही देने के लिये । प्रभाकर थाने जाकर गवाही नही देना चाहता था । इस लिये वह पुलिस के सामने ही वहा से भाग गया । फिर क्या था, पुलिस प्रभाकर को ढूंढती रह गयी पर वह पुलिसकर्मीयो को धोखा देकर भाग गया । अब पुलिस के पास गवाह नही था जिससे की वह उन आरोपियों को सजा दिलवा सके । अंत मे गवाह न मिलने पर उन दोनो आरोपियों के वकील ने उनको थाने से ही छुड़वा लिया।
अतः हम ये कह सकते हैं कि प्रभाकर का पुलिस वालो को धोखा देना ही “आँखों मे धूल झोंकना” कहलाता है ।
“आँखों मे धूल झोंकना” मुहावरे का वाक्य प्रयोग / Aankhon Mein Dhool Jhokna Muhavare Ka Vakya Prayog.
‘आँखों में धूल झोंकना’ मुहावरे अर्थ हम नीचे दिये गये कुछ वाक्य प्रयोगो के माध्यम से समझ सकते हैं । जो कि इस प्रकार है-
वाक्य प्रयोग- 1.
गांव मे प्रताप नाम का एक आदमी रहता था । कुछ सालों पहले वह शहर चला गया था । लेकिन कुछ दिन पहले ही वह गांव मे वापस आया है । गांव के सभी लोग प्रताप को बहोत मानते है और उस पर विश्वास भी करते हैं । एक दिन प्रताप ने सभी गांव वालो से बोला कि आप सभी लोग मुझे दस लाख रुपये इकठ्ठा कर के दो । मै उन रुपयों से सबके लिए शहर में एक एक मकान दिलवाऊंगा । सभी लोगों ने प्रताप पर विश्वास कर लिया और शाम तक उसको दस लाख रुपये इकठ्ठा कर के दे दिये । लेकिन जब सुबह हुयी तो प्रताप पैसों के साथ गायब हो चुका था । वह गांव वालो को ठग कर और उनके पैसे लेकर भाग गया । प्रताप ने पूरे गांव के लोगो को भ्रमित कर के उन्हे धोखा दे दिया । इस प्रकार से प्रताप ने गांव वालो की ‘आँखों मे धूल झोंकने’ का काम किया ।
वाक्य प्रयोग- 2.
जादूगर ने जादू दिखाने के नाम पर सबके आँखों मे धूल झोंककर भाग गया ।
बाजार मे एक जादूगर अपना जादू दिखा रहा था । कुछ लोग घेरा बनाकर उसके जादू का आनंद ले रहे थे । जब जादूगर को ये यकीन हो गया सब लोग उसके जादू पर यकीन करने लगे है तो उसने एक चाल चली । जादूगर ने दर्शकों से बोला कि जिसे भी अपने पैसे दोगुने करवाने है, वो लोग इस थैले मे पैसा डाल दे । लोगो ने तुरंत ही अपने जेब से पैसा निकाल कर जादूगर के थैले मे डाल दिया । अब जादूगर ने बोला की अब आप लोग अपनी आंखें बंद कर ले, जब मै बोलूंगा तब आप लोग अपनी आंखें खोलना । सभी लोगो ने अपनी आंखे बंद कर लिया । जब काफी देर हो गया और जादूगर की आवाज़ सुनाई नही दी तो सब ने अपनी आंखें खोल ली । जैसे ही लोगो ने अपनी आंखें खोली तो उनके होश उड़ गये । जादूगर अपना सारा समान लेकर भाग चुका था । लोगो को यकीन हो गया कि जादूगर ने उन्हे ठग लिया है और उनकी आँखों मे धूल झोंककर भाग गया । अर्थात कि जादूगर का लोगो को धोखा देखर उनके पैसों को लेकर भाग जाना ही ‘आँखों मे धूल झोंकने’ के समान है ।
वाक्य प्रयोग- 3.
रवी पढ़ाई के नाम पर अपने माता-पिता की आँखों मे धूल झोकने का कार्य कर रहा है ।
रवी ने अपने माता-पिता से बोला की मुझे कुछ विष्यों की तैयारी करने के लिए मेरा ट्यूशन गलवा दीजिये । रवी के माता-पिता ने उसका ट्यूशन लगवा दिया । लेकिन रवी अब ट्यूशन के नाम पर अपने आवारा दोस्तों के साथ घूमता है । और जो ट्यूशन के नाम पर पैसे मिलते है उनको दोस्तों के साथ मिलकर उड़ा देता है । ये बात जैसे ही रवी के माता-पिता को पता चली तो उन्होंने तुरंत ही रवी को बुलाकर फटकार लगायी । उन्होंने रवी से कहा की तुम ट्यूशन के नाम पर हमारी आँखों मे धूल झोक रहे हो । हमें तुमसे ये उम्मीद नही थी, कि तुम अपने माता-पिता को ही धोखा दोगे । फिर रवी की ट्यूशन बंद हो गयी । दोस्तों पढ़ाई के नाम पर हमें अपने माता-पिता की आँखों मे धूल नही झोकना चाहिए ।
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