दिन दूनी रात चौगुनी मुहावरे का अर्थ और वाक्य प्रयोग / Din Dooni Raat Chauguni Meaning In Hindi
- Get link
- X
- Other Apps
Din Duni Rat Chauguni Muhavre Ka Arth Aur Vakya Prayog / दिन दूनी रात चौगुनी मुहावरे का अर्थ क्या होता है?
![]() |
Din Dooni Raat Chauguni |
मुहावरा- “दिन दूनी रात चौगुनी”।
( Muhavara- Din Dooni Raat Chauguni )
अर्थ- अधिकाधिक उन्नति करना / प्रतिदिन अधिक तरक्की करना / शीघ्रता से और बहुत जल्दी उन्नति करना / निरंतर तरक्की करते रहना ।
( Arth/Meaning in Hindi- Adhikadhik Unnati Karna / Pratidin Adhik Tarakki Karna / Shigharta Se Aur Bahut Jaldi Unnati Karna / Nirantar Tarakki Karte Rahna )
“दिन दूनी रात चौगुनी” मुहावरे का अर्थ/व्याख्या इस प्रकार है-
“दिन दूनी रात चौगुनी”, यह हिंदी भाषा में प्रयुक्त होने वाला एह महत्वपूर्ण मुहावरा है । इस मुहावरे का अर्थ व्यक्ति का निरंतर तरक्की करते रहना या अधिकाधिक उन्नति करना होता है ।
दिन दूनी रात चौगुनी तरक्की करने का अर्थ है किसी क्षेत्र में बहुत तेज़ी से तरक्की करना या प्रगति करना । यह मुहावरा उस समय का विवरण करता है जब कोई व्यक्ति या समूह अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए अत्यधिक मेहनत और प्रयास करता है, जिससे उन्हे बहुत तेज़ी से सफलता मिलती है ।
इस मुहावरे में “दिन दूनी” का मतलब है दिन रात और “रात चौगुनी” का मतलब है रात के दौरान चौगुना या चार गुना काम करना । इसका व्याख्या करते समय यह समझना जरूरी है कि इस मुहावरे का उपयोग किसी व्यक्ति या समूह के प्रगति और सफलता को व्यक्त करने के लिए किया जाता है । इसका अर्थ है कि सफलता के लिए लगन, मेहनत और प्रतिबद्धता से नही चूकना चाहिए ।
दिन दूनी रात चौगुनी तरक्की करना एक प्रसिद्ध हिंदी मुहावरा है जिसका अर्थ होता है किसी चीज के विकास में बहुत तेज़ी से आगे बढ़ना । इस मुहावरे के उपयोग से बताया जाता है कि कोई व्यक्ति या समूह अत्यंत उत्साहित और प्रगतिशील है ।
जैसे-
1. प्रत्येक माँ अपने बेटे को यही आशीर्वाद देती है कि बेटा दिन दूनी रात चौगुनी उन्नति करे ।
2. देखो महेश अगर तुम दिन रात मेहनत करोगे तभी तुम्हारा बिज़नेस दिन दूनी रात चौगुनी तरक्की करेगा ।
3. उस विद्यार्थी ने अपनी लगन और मेहनत से पढ़ाई में दिन दूनी रात चौगुनी तरक्की किया ।
4. रवि ने अपनी रफ्तार और मेहनत से दौड़ के खेल में निरंतर दिन दूनी रात चौगुनी तरक्की करता गया ।
5. पूनम ने गायकी में अपनी रियाज और प्रतिभा के दम पर दिन दूनी रात चौगुनी तरक्की करती रही और अपना और अपने परिवार का नाम रोशन किया ।
“दिन दूनी रात चौगुनी” मुहावरे का वाक्य प्रयोग / Din Duni Raat Chauguni Muhavare Ka Vakya Prayog.
“दिन दूनी रात चौगुनी” मुहावरे का अर्थ नीचे दिए गए कुछ वाक्य प्रयोगों के माध्यम से समझ सकते हैं, जो कि इस प्रकार से हैं -
वाक्य प्रयोग- 1.
वर्मा जी ने अपने व्यवसाय को नई योजनाओं के साथ शुरु और देखते ही देखते उन्होंने अपने व्यवसाय में दिन दूनी रात चौगुनी उन्नति कर लिया ।
वर्मा जी का व्यवसाय पिछले कुछ महीनों से बहोत घाटे में चल रहा था । उन्हे समझ में नही आ रहा था कि वे क्या करे जिससे उनका व्यवसाय फिर से तरक्की का रफ्तार पकड़ ले । इसी बीच वर्मा जी एक बिजनेस एडवाइजर से मुलाक़ात हुई । वर्मा जी ने अपनी परेशानी का कारण उस बिजनेस एडवाइजर को बताया । उस एडवाइजर ने वर्मा जी को उनके व्यवसाय से सम्बन्धित कुछ नई योजनाओं के बारे में बताया और कहा कि आप अपने व्यवसाय को इन योजनाओं के साथ फिर से शुरुआत कीजिये, आपको अपने व्यवसाय मे जल्द ही तरक्की मिलेगी । वर्मा जी ने उस बिजनेस एडवाइजर के बताये गए योजनाओं के साथ अपने व्यवसाय को फिर से नये तरिके से शुरुआत किया । वर्मा जी को यकीन ही नही हो रहा था कि उनका व्यवसाय अब निरंतर तरक्की कर रहा है । वर्मा जी ने अपने व्यवसाय में कुछ ही महीनों में शीघ्रता से और बहोत जल्दी तरक्की कर लिया । अर्थात कि उस बिजनेस एडवाइजर के बताये गये योजनाओं के माध्यम से वर्मा जी अब अपने व्यवसाय में दिन दूनी रात चौगुनी उन्नति कर रहे हैं ।
वाक्य प्रयोग- 2.
बीते कुछ दसको में इसरो के वैज्ञानिकों ने दिन दूनी रात चौगुनी तरक्की किया है और देश का नाम पुरी दुनिया में रोशन किया है ।
दुनिया में पहले इसरो के वैज्ञानिकों को उतनी इज्जत नही मिलती थी जितनी मिलनी चाहिए थी । धीरे-धीरे वैज्ञानिकों ने नई नई तकनिकों का शोध किया । आजकल स्वदेशी ट्रेन से लेकर फाइटर प्लेन, रॉकेट व युद्ध मे दुश्मनों का खात्मा करने के लिए अनेको घातक लॉन्चर तैयार किये जा रहे हैं । इसरो के वैज्ञानिकों ने जब चंद्रयान 2 को चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर सफलतापूर्वक लैंड करवाया तब पुरी दुनिया भारत के वैज्ञानिकों की सफलता का परचम लहराया । इस घटना के बाद दुनिय को लगा कि भारत के वैज्ञानिकों ने अधिकाधिक उन्नति कर ली है । और सब देख भी रहे हैं कि भारत अब निरंतर तरक्की कर रहा है अर्थात कि दिन दूनी रात चौगुनी तरक्की कर रहा है ।
वाक्य प्रयोग- 3.
गोपाल ने अपने गाँव में ही अपनी मेहनत के दम पर एक कारखाना खोला और दिन दूनी रात चौगुनी तरक्की कर लिया ।
गोपाल कई वर्षों से संघर्ष कर रहा था । उसने बहोत से कारखानों में काम भी किया है । पर कही पर भी उसे उसके कौशल के अनुसार काम नही मिला । यही सब देख कर गोपाल ने ये निश्चय किया कि वह अपने गाँव में ही खुद का एक कारखाना खोलेगा । गोपाल ने ऐसा ही किया । उसने अपनी माँ से आर्शीवाद मांगा और कहा कि माँ मै अपना खुद का कारखाना खोलने जा रहा हूं मुझे आशीर्वाद दो की मै दिन दुनी रात चौगुनी तरक्की करु । इसके बाद गोपल ने अपने कुछ पुराने दोस्तों के साथ मिलकर एक सायकिल बनाने का कारखाना खोला । धीरेधीरे कारखाना चलना शुरु हुआ और देखते ही देखते पूरे शहर में गोपाल के कारखाने का नाम फैल गया । अगले दो सालों के अंदर ही गोपाल ने बहुत तरक्की किया । उसका यह कारखाना निरंतर चलता रहा । गोपाल ने इस कारखाने के जरिये दिन दूनी रात चौगुनी तरक्की कर लिया ।
दोस्तों हम उम्मीद करते हैं कि इस मुहावरे का अर्थ आपको समझ में आ गया होगा । अपने सुझाव देने के लिए हमें कमैंट्स करें ।
आपका दिन शुभ हो ! 😊
- Get link
- X
- Other Apps
Comments
Post a Comment